तईपे । अमेरिकी राजनयिक के ताइवान दौरे से चीन की त्यौरियां चढ़ गई। लिहाज दोनों देशों के बीच तनाव एक बार फिर बढ़ता हुआ दिखाई दे रहा है। अमेरिका के साथ बढ़ती दोस्ती के कारण ताइवान को लेकर चीन के तेवर आक्रामक होते जा रहे हैं। चीन के विमान ताइवान की सीमा में घुसपैठ से बाज नहीं आ रहे। लेकिन तइपे ने अब ड्रैगन की कार्रवाइयों का मुंहतोड़ जवाब देने का मन बना लिया है। ताजा घटनाक्रम में एक बार फिर ताइवान के वायुक्षेत्र में अपने 8 एच-6के परमाणु बॉम्बर्स घुसाए तो ताइवान ने भी अपनी मिसाइलों का मुंह चीन के बॉम्बर्स की तरफ कर दिया। तनाव बढ़ता देख चीन ने जहाज तुरंत ही ताइवान की वायुसीमा के बाहर भाग गए।
ताइवानी रक्षा मंत्रालय ने कहा कि शनिवार को आठ एच-6के चीनी बमवर्षक विमानों और चार लड़ाकू विमानों ने ताइवान के वायु रक्षा पहचान क्षेत्र के दक्षिण-पश्चिमी कोने में प्रवेश किया। जिसके बाद ताइवान ने अपनी मिसाइलों को मॉनिटर करने के लिए तैनात किया। आठ परमाणु हमला करने में सक्षम एच-6के और चार जे-16 लड़ाकू विमानों की घुसपैठ को ताइवान ने भी असामान्य करार दिया है। बता दें कि आम तौर पर चीन अक्सर टोही विमानों या एक या दो एच-6के विमानों को ही ताइवानी सीमा में भेजता है। ताइवान के रक्षा मंत्रालय द्वारा उपलब्ध कराए गए एक नक्शे से पता चला है कि वाई-8 पनडुब्बी रोधी विमान ने भी प्रतास द्वीप के पास ताइवानी एयरस्पेस में घुसने का प्रयास किया था। हालांकि, ये सभी विमान ताइवान के मुख्य भूभाग से काफी दूर से ही खदेड़ दिए गए।
मंत्रालय ने कहा, ताइवान की वायु सेना ने चीनी विमानों को चेतावनी दी है और उनकी निगरानी के लिए मिसाइलों को तैनात किया है। घुसपैठ की जानकारी मिलते ही एयरबोर्न अलर्ट के स्तर को भी बढ़ा दिया गया। रेडियो चेतावनियां जारी की गईं और हवाई रक्षा मिसाइल सिस्टम को इस गतिविधि पर नजर रखने के लिए तैनात किया गया। हालांकि, चीन की ओर से तत्काल कोई टिप्पणी नहीं की गई। ताइवान के रक्षा मंत्रालय के अनुसार, घुसपैठ करने वाले चीन के जहाजों में वाई-8 एंटी सबमरीन प्लेन सबसे ज्यादा बार शामिल रहा है। ये विमान समुद्र में सतह के ऊपर और पानी के नीचे कीगतिविधियों को ट्रैक करने में माहिर हैं। हालांकि, अमेरिका के पास कई ऐसी पनडुब्बियां हैं जिनका पता चीन का कोई भी एंटी सबमरीन वारफेयर सिस्टम नहीं लगा सकता है। रविवार सुबह को भी चीन के एक विमान ने ताइवान में घुसपैठ की थी