लंदन । हमारी धरती के अलावा ब्रह्मांड में कहीं और जीवन है या नहीं, वैज्ञानिक इसकी खोज में जुटे रहे हैं। एलियंस के धरती पर आने के कई दावे होते रहे लेकिन कभी कोई ऐसा सबूत नहीं मिल सका जिसके आधार पर माना जाए कि हम अकेले नहीं हैं। हालांकि, हार्वड यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर ने न सिर्फ एलियंस के अस्तित्व का दावा किया है बल्कि कहा है कि करीब तीन साल पहले वे हमारे करीब से गुजर भी चुके हैं। 19 अक्टूबर, 2017 को देखी गई स्पेस रॉक दरअसल एलियन लाइफ का सबूत थी। यूनिवर्सिटी ऑफ हवाई के टेलिस्कोप ने इस देखा था। सिगार के आकार का ये ऑब्जेक्ट 1.96 लाख मील प्रतिघंटा की रफ्तार से धरती के करीब से गुजरा था और इस धूमकेतु या ऐस्टरॉइड माना गया था। हालांकि, ऐवी का कहना है कि यह कोई आम स्पेस रॉक नहीं थी।
हारवर्ड यूनिवर्सिटी के डिपार्टमेंट ऑफ एस्ट्रोनॉमी के हेड ऐवी ने अपनी आने वाली किताब एक्स्ट्राटेरेस्ट्रियल में बताया है कि वह ऐसा क्यों मानते हैं। उन्होंने बताया है कि ओमूआमूआ हर आठ घंटे पर सूरज की एक सी चमक रिफ्लेक्ट करता था। इससे संकेत मिलता है कि वह हर आठ घंटे पर अपने केंद्र पर पूरी तरह घूम लेता था। इससे पहले किसी दूसरे स्पेस ऑब्जेक्ट का आकार ऐसा नहीं पाया गया था। इसकी चमक सामान्य धूमकेतुओं या ऐस्टरॉइड्स से दस गुन ज्यादा थी। सबसे बड़ा दावा जो ऐवी इसके एलियन लाइफ के सबूत के तौर पर देते हैं, वह है सूरज के गुरुत्वाकर्षण का असर। उन्होंने बताया कि सूरज के करीब जाने पर स्पेस ऑब्जेक्ट्स की रफ्तार तेज हो जाती है और दूर जाने पर धीमी। हालांकि, ओमूआमूआ के साथ ऐसा नहीं हो रहा था। उन्होंने यह भी कहा है कि किसी धूमकेतु या ऐस्टरॉइड की तरहओमूआमूआ की कोई पूंछ नहीं थी और न ही इससे कार्बन के संकेत मिले। इसके चक्कर का जो रास्ता था, वह अपने आप में काफी अजीब था।