ह्यूस्टन । अमेरिका में भारतीय राजदूत तरनजीत सिंह संधू ने कहा कि भारत और अमेरिका के वैज्ञानिक और इंजीनियर कोविड-19 वर्चुअल नेटवर्क के तहत अनुंसधान के अवसरों को विस्तार दे सकते हैं। नेटवर्क का विकास इंडिया-यूएस साइंस एंड टेक्नोलॉजी इनडाउमेंट फंड (भारत-अमेरिका विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी अक्षय निधि) के तहत किया जा रहा है। भारत-अमेरिका स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अनुसंधान साझेदारी विषय पर वेबिनार में संधू ने कहा कि कोरोना के दौरान भारत और अमेरिका के इंजीनियर और वैज्ञानिकों के पास स्वास्थ्य और चिकित्सा अनुसंधान क्षेत्र में द्विपक्षीय सहयोग के काफी अवसर हैं। संधू ने कहा, भारत और अमेरिका कोविड-19 के दौरान स्वास्थ्यसेवा और चिकित्सा क्षेत्र में सक्रिय रूप से शामिल हैं और क्षेत्र में द्विपक्षीय सहयोग के काफी अवसर हैं। उन्होंने कहा कि कोविड के शुरुआती दिनों से ही दोनों देशों के वैज्ञानिकों और संस्थाएं एक-दूसरे के साथ जानकारी साझा करने में सक्रिय रूप से शामिल हैं। आईयूएसटीईएफ के तहत कोविड-19 वर्चुअल नेटवर्क का विकास किया जा रहा है, इसके तहत भारत और अमेरिका के वैज्ञानिक संयुक्त रूप से अनुंसधान कर सकते हैं। संधू ने भारत और अमेरिका के निजी क्षेत्रों द्वारा किए जा रहे कामों को भी रेखांकित किया। उन्होंने कहा, ‘‘भारत अमेरिका के निजी क्षेत्र के साथ टीका विकास में काम कर रहा है। मौजूदा समय में भारतीय और अमेरिकी कंपनियों और संस्थानों के बीच टीका विकसित और निर्माण में कम से कम तीन गठबंधन हैं।’