वॉशिंगटन । कोविडरोधी वैक्सीन ऑक्सफर्ड-एस्ट्राजेनेका का दुनिया के कई देशों में इस्तेमाल हो रहा है। पर वैक्सीन के इस्तेमाल को रोके जाने पर विशेषज्ञों ने गंभीर चेतावनी दी है। उन्होंने कहा कि वैक्सीन पर रोक से फायदा कम और नुकसान ज्यादा हो सकता है। यह चेतावनी ऐसे समय पर आई है जब जर्मनी, फ्रांस, इटली समेत दुनिया के कई देशों ने एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन से कथित रूप से खून के थक्के जमने की आशंका के बाद इसके इस्तेमाल को रोक दिया है। विशेषज्ञों ने कहा कि बिना किसी ठोस शोध के वैक्सीन की सुरक्षा को लेकर जनता को यह निष्कर्ष नहीं निकाल लेना चाहिए। अमेरिका की स्वास्थ्य मामलों की विशेषज्ञ प्रोफेसर सुसान एलेनबर्ग कहती हैं कि एक वैक्सीन को इस तरह से बनाया जाता है ताकि वह कुछ चीजों जैसे संक्रमण या बीमारी को रोक दे।' उन्होंने कहा कि वैक्सीन हर उस खराब चीज को नहीं रोक सकती है जो किसी इंसान को हो सकता है। इसलिए जब एक वैक्सीन का इस्तेमाल दुनियाभर में किया जाता है तो हर वह बुरी चीज जो हो सकती है, जिसके होने की आशंका रहती है।
एलनबर्ग ने कहा, 'जब यह किसी वैक्सीन को लगवाने के आसपास होता है तो लोग यह समझ लेते हैं कि यह निश्चित रूप से वैक्सीन की वजह से हुआ है या कम से कम उन्हें संदेह हो जाता है कि यह संभवत: वैक्सीन की वजह से हुआ है।' एलनबर्ग और कई अन्य विशेषज्ञों ने जोर देकर कहा कि जब एक नई वैक्सीन आती है या दवा बाजार में आम जनता के लिए आती है तो यह अक्सर होता है कि स्वास्थ्य को लेकर सवाल उठता है।
विशेषज्ञों ने कहा कि खून का थक्का जमने और वैक्सीन के बीच किसी संबंध की अभी तक पहचान नहीं हो सकी है। उन्होंने चेतावनी दी कि वैक्सीन पर रोक लगाने से अच्छे की बजाय देशों को ज्यादा नुकसान हो सकता है। ब्रिटेन के साउथहैम्पटन विश्वविद्यालय के स्वास्थ्य मामलों के विशेषज्ञ माइकल कहते हैं कि हर तरफ अभी बहुत कोरोना है, इसलिए इस हेल्थ इमरजेंसी को देखते हुए किसी वैक्सीन को रोकने के लिए आपके पास ठोस आंकड़ा होना चाहिए। उन्होंने कहा कि वैक्सीन में देरी से और ज्यादा मौतें हो सकती हैं।
इससे पहले इटली के दवा नियंत्रक ने सोमवार को एहतियाती कदम उठाते हुए एस्ट्राजेनेका के कोविड-19 रोधी टीके के इस्तेमाल पर अस्थायी रोक लगा दी। टीका लेने के बाद रक्त के थक्के बनने की घटनाओं संबंधी खबरें आने के बाद यह कदम उठाया गया है। फ्रांस और जर्मनी ने भी सोमवार को टीके के इस्तेमाल पर अस्थायी रोक लगा दी। वहीं, एस्ट्राजेनेका और वैश्विक स्वास्थ्य अधिकारियों ने दावा किया है कि टीका सुरक्षित है। इटली के उत्तरी पिडमोंट क्षेत्र में 57 वर्षीय एक शिक्षक ने शनिवार को टीका लगवाया था और रविवार सुबह उसकी मौत हो गई। इस मामले सहित अन्य ऐसे मामलों में शवों को परीक्षण के लिए भेजा गया है। कई देशों में एस्ट्राजेनेका कोविड-19 वैक्सीन के इस्तेमाल पर रोक लगाए जाने के बाद कंपनी ने कहा है कि उनके वैक्सीन के कारण खून में थक्के जमने के कोई सबूत नहीं मिले हैं। एस्ट्राजेनेका ने अपने एक बयान में कहा, ‘सुरक्षा सर्वोपरि है और कंपनी की ओर से अपने वैक्सीन की सुरक्षा पर लगातार निगरानी की जा रही है।’ इसमें आगे कहा गया, ‘यूरोपीय संघ और ब्रिटेन में टीकाकरण कराए गए 1.7 करोड़ से अधिक लोगों के सुरक्षा से संबंधित उपलब्ध सभी आंकड़ों की गहराई से समीक्षा की गई, जिसमें किसी भी आयु वर्ग और लिंग या किसी विशेष देश के निवासियों के फेफड़ों में खून का थक्का जमने, खून में प्लेटलेट्स की संख्या में कमी के होने के खतरे का कोई सबूत नहीं मिला है।’