लंदन । सड़क
दुर्घटनाओं की एक
बड़ी वजह शराब
पीकर गाड़ी चलाना
है। ब्रिटेन में
शराब पीकर वाहन
चलाने के चलते
होने वाली घटनाओं
पर रोक लगाने
के लिए विशेष
तरीका अपनाने की
योजना बनाई गई
है। ऐसे मामलों
में दोषी पाए
गए लोगों की
कारों में ब्रेथ
एनालाइजर उपकरण ‘अल्कोलॉक्स’ लगाया
जाएगा। यह ऐसा
उपकरण है, जिसे
वाहन में लगाने
के बाद यदि
ड्राइवर ने शराब
पी होगी तो
वाहन चालू ही
नहीं होगा। अल्कोलॉक्स
को औपचारिक रूप
से अल्कोहल इग्निशिन
इंटरलॉक्स के नाम
से जाना जाता
है। यह परंपरागत
ब्रेथ एनालाइजर की
तरह ही काम
करता है। यदि
वाहन चालक में
शराब की पुष्टि
होती है तो
सिस्टम 24 घंटे तक
वाहन के इंजन
को लॉक कर
सकता है।
निर्धारित सीमा से अधिक होने पर वाहन तब तक स्टार्ट नहीं होगा, जब तक की अगली बार शराब की सीमा कम नहीं आती है। शराब पीकर दुर्घटना के दोषी कार चालकों की कारों में यह उपकरण लगाया जाएगा। उन्हें कार स्टार्ट करने से पूर्व ब्रेथ टेस्ट देना होगा। ब्रिटेन की सड़कों पर शराब पीकर वाहन चलाने और दुर्घटना करने के मामलों में 3 फीसदी की बढोतरी दर्ज की गई है। जिसके बाद यह कदम उठाया गया है।
कार चालक को कार में बैठने के बाद अल्कोलॉक में फूंक मारनी होगी, फूंक मारने से अल्कोहल के स्तर की जांच हो जाएगी। इस टेस्ट के बाद यह सुनिश्चित किया जाएगा कि वाहन को शुरू किया जा सकता है या नहीं। यदि अल्कोहल का स्तर निर्धारित सीमा के नीचे है तो वाहन स्टार्ट हो जाएगा। लेकिन अगर विश्लेषण में आया कि वाहन चालक ने ज्यादा शराब पी रखी है, जो गाड़ी चलाने के लिहाज से खतरनाक है, तो कार का इंजन लाक हो जाएगा और बाद में फिर ऐसे ही परीक्षण से गुजरने के बाद ही इंजन स्टार्ट किया जा सकेगा।