भोपाल। राजधानी में आधार केंद्र बंद होने से हर रोज होने वाले हजारों आधार अपडेशन पर असर पड़ा है। न तो कार्ड अपडेट हो पा रहे हैं और न ही नए बन पा रहे हैं। इस कारण लोग कार्ड में पूर्व में हुई छोटी-छोटी खामियों को दुरुस्त नहीं करा पा रहे हैं। राजधानी भोपाल के आधार केंद्र पिछले 80 दिन से बंद हैं। इन्हें कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते 21 मार्च से बंद कर दिया गया था। पुनः संचालित करने के संबंध में फिलहाल कोई निर्णय नहीं लिया जा सका है। प्रदेश में कोरोना का संक्रमण बढ़ने के कारण 21 मार्च से ही सभी जिलों के आधार केंद्र बंद करने का निर्णय शासन ने लिया था। दरअसल, केंद्रों पर बायोमेट्रिक मशीन के जरिए प्रक्रिया की जाती है। इससे कोरोना का संक्रमण फैलने की संभावना थी। संक्रमण फैले नहीं इसलिए केंद्रों को बंद कर दिया गया था। चूंकि, भोपाल प्रदेश का इंदौर के बाद दूसरा बड़ा संक्रमित शहर है, इसलिए फिलहाल केंद्रों के पुनः प्रारंभ होने की संभावना भी नहीं है। इंदौर व उज्जैन में भी आधार केंद्र पुनः चालू नहीं किए गए हैं। जिले में ई-गर्वनेंस की मॉनीटरिंग में 30 आधार केंद्र संचालित हो रहे हैं। जहां हर रोज औसत साढ़े 3 हजार अपडेशन होते हैं। इनके अलावा 90 से अधिक बैंक शाखा, डाकघर, अस्पताल में अपडेशन कार्य होता है। इसके साथ नए कार्ड भी बनाए जाते हैं। दो मॉल में भी आधार सेवा केंद्र हैं। ये केंद्र संचालित करने वाली कंपनियां यूआईडीएआई से सीधे ऑपरेट करती है। बैंक, डाकघर या अन्य जगह भी हजारों अपडेशन रोज किए जाते हैं। केंद्र बंद होने के कारण लोगों को आधार से जुड़ी कई परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। नाम, पते या उम्र से संबंधित अपडेट नहीं हो पा रहे हैं। चूंकि, बैंकों से लेकर हर कार्य में आधार कार्ड अनिवार्य है, इसलिए कार्ड अपडेट न होने या फिर नया कार्ड नहीं बन पाने के कारण लोगों को परेशानी हो रही है। दूसरी ओर आगामी समय में स्कूल भी खुलने वाले हैं। एडमिशन प्रक्रिया में आधार अनिवार्य है, लेकिन अभिभावकों के सामने परेशानी यह है कि उनके बच्चे का या तो कार्ड बना नहीं या फिर कोई गलती है। तुलसीनगर की नीलमसिंह बताती हैं कि आगामी समय में स्कूल खुल जाएंगे। उन्हें बेटे का एडमिशन कराना है, पर उसके आधार कार्ड में नाम की स्पेलिंग गलत है। उसे सुधरवाना है। यही समस्या खुशबू तिवारी के साथ है। बेटे के कार्ड में पिता के नाम की जगह केयर ऑफ लिख दिया गया है। इससे भविष्य में परेशानी होगी। इसलिए कार्ड को अपडेट कराना चाह रही हैं, लेकिन केंद्र बंद होने से करवा नहीं पा रहीं। ई-गर्वनेंस मैनेजर विकास गुप्ता ने बताया कि आधार केंद्रों पर औसत साढ़े 3 हजार अपडेशन होते हैं, लेकिन कोरोना संक्रमण के चलते केंद्र बंद हैं। इसके बाद ही अपडेशन या नए कार्ड बनाए जाते हैं। केंद्र खुलने के बाद अपडेशन या नए कार्ड की प्रक्रिया में तेजी लाई जाएगी।केंद्र पर बॉयोमेट्रिक मशीन से प्रक्रिया करनी पड़ती है।