वॉशिंगटन । अंतरिक्ष की दुनिया को लेकर आम से लेकर खास लोगों में जिज्ञासा बनी रहती है उसके रहस्य खोजने में वैज्ञानिकों को अभी भले ही लंबा वक्त लगे, लेकिन अंतरिक्ष की सैर का सपना धीरे-धीरे सच होता दिख रहा है। कम से कम दुनिया के रईसों के लिए यह मुमकिन हो चुका है। स्पेसएक्स के मालिक एलन मस्क ने पहली बार चार आम नागरिकों को स्पेस में भेजकर इतिहास रच दिया। हालांकि, जितनी चर्चा इस बात की है कि मिशन पर कोई पेशेवर ऐस्ट्रोनॉट नहीं है, उतनी ही चर्चा इसके बाथरूम की भी है। दरअसल, इस स्पेसशिप का बाथरूम छत पर बनाया गया है और यहां से शानदार व्यू भी दिखता है। जब क्रो ड्रैगन स्पेसशिप का डिजाइन सामने नहीं आया था, बिजनेस इंसाइडर की एक रिपोर्ट में बताया गया था कि इसका वॉशरूम कितना खास है।
इसके मुताबिक यह बाथरूम जहां है, उसके ऊपर शीशे का गुंबद जैसा ढांचा भी है जिसे क्यूपला नाम दिया गया है। इसे कैप्सूल के एक सिरे पर लगाया गया है। इस यात्रा पर गए बिजनसमैन और जेट पायलट जेरेड आइसकमैन के मुताबिक इसका इस्तेमाल करते वक्त पैसेंजर अंतरिक्ष में देख सकते हैं। जेरेड ने मिशन पर चार सीटें खरीदी हैं। उन्होंने अपने साथ ले जाने के लिए तीन आम लोगों को चुना है। इससे पहले स्पेसएक्स तीन बार नासा के ऐस्ट्रोनॉट्स को आईएसएस ले जा चुका है लेकिन उसके किसी स्पेसशिप में क्यीपला नहीं था। ऐसा इसलिए है क्योंकि आईएसएस पर डॉकिंग की जरूरत होती है जिससे ऐस्ट्रोनॉट स्टेशन में दाखिल हो सकें। इसलिए डॉकिंग की जगह पैसेंजर्स के लिए जगह बनाई गई है।
यह ग्रुप इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन से ज्यादा ऊंचाई तक जाएगा और तीन दिन तक व्यू का नजारा लेगा। इस दौरान कुछ साइंस एक्सपेरिमेंट भी किए जाएंगे। आइसकमैन के अलावा फिजिशन-असिस्टेंट हेली आर्सेनॉ, एयर फोर्स इंजिनियर क्रिस सेंब्रोस्की और साइंटिस्ट डॉ. सायन प्रॉक्टर भी गए हैं। इस मिशन के जरिए सेंट जूड चिल्ड्रन्स रिसर्च हॉस्पिटल के लिए फंड जुटाने का मकसद है। इससे पहले इसी साल गैर-ऐस्ट्रोनॉट्स को अंतरिक्ष में ले जाने वाली दो फ्लाइट्स जा चुकी हैं। सबसे पहले ब्रिटेन के अरबपति रिचर्ड ब्रैंसन भारतीय मूल की शिरीषा बांदला के साथ स्पेस यात्रा पर गए और उनके कुछ दिन बाद ऐमजॉन के संस्थापक जेफ बेजोस अंतरिक्ष में जाने वाले दुनिया के सबसे अमीर शख्स बन गए।