मुंबई । उत्पादन आधारित प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना का मेक इन इंडिया अभियान पर व्यापक असर दिखने लगा है। अमेरिकी स्मार्टफोन निर्माता कंपनी एप्पल भी योजना के तहत भारत में आईपैड बनाने की तैयारी कर रही है। कंपनी चीन से अपना कारोबार शिफ्ट करना चाहती है और सरकार से प्रोत्साहन लेने पर विचार कर रही है। एप्पल के सूत्रों ने बताया कि स्मार्टफोन निर्यात को बढ़ावा देने के लिए शुरू हुई पीएलआई योजना में भारत सरकार ने करीब 50 हजार करोड़ का प्रोत्साहन देने का ऐलान किया है। एप्पल भी इसका लाभ उठाना चाहती है और चीन पर अपनी निर्भरता कम करने के लिए सबसे बड़े आपूर्तिकर्ता फॉक्सकान के जरिये भारत में आईपैड विनिर्माण की तैयारी में है। इसके लिए शुरुआती निवेश 20 हजार करोड़ हो सकता है। चीन और अमेरिका के साथ जारी व्यापार युद्ध और कोविड-19 महामारी के बाद कंपनी ने रणनीति में बदलाव किया है। अभी एप्पल के ज्यादातर आईपैड का उत्पादन चीन में होता है, जबकि लैपटॉप वियतनाम में बनता है। एप्पल 2017 से आईफोन का असेंबल भारत में कर रही है। पीएलआई योजना के तहत सरकार अगले दो महीने में स्मार्टवॉच जैसे पहने जाने वाले उत्पादों को भी शामिल करने की तैयारी में है। इसके लिए 5 हजार करोड़ का शुरुआती फंड जारी हो सकता है। सरकार ने एप्पल से कहा है कि भारत में आईपैड विनिर्माण गैर चीनी कंपनी के साथ मिलकर किया जा सकता है। एप्पल के देश में तीन सहयोगी हैं, फॉक्सकान, विस्ट्रॉन और पेगाट्रॉन।