नई दिल्ली: आज हम आपको ऐसी शख्सीयत से मिलाते हैं जिन्होंने सफल बिजनेस खड़ा करने से पहले 20 बार असफलता का सामना किया। उनका नाम है विकास डी. नाहर। वह हैप्पिलो के को-फाउंडर और सीईओ हैं। बार-बार नाकामयाबी हाथ लगने के बावजूद उन्होंने हिम्मत नहीं हारी। फिर अपनी मेहनत के बूते सिर्फ 10,000 रुपये से शुरू हुई कंपनी को 500 करोड़ रुपये की बना दिया। यह कंपनी हेल्दी स्नैक्स बनाने के लिए जानी जाती है। आइए, यहां विकास डी नाहर की सफलता के बारे में जानते हैं।किसान परिवार से ताल्लुक
किसान परिवार से आने वाले विकास को हमेशा से बिजनेस में रुचि थी। बैंगलोर यूनिवर्सिटी से कंप्यूटर साइंस में ग्रेजुएशन करने के बाद उन्होंने जैन ग्रुप में सीनियर इम्पोर्ट मैनेजर के रूप में काम शुरू किया। फिर एमबीए करने के लिए विकास ने अपनी नौकरी छोड़ दी। उन्होंने सिम्बायोसिस इंटरनेशनल यूनिवर्सिटी से एमबीए किया। इसके पूरा होने के बाद वह सात्विक स्पेशलिटी फूड्स में मैनेजिंग डायरेक्टर बन गए। यहां काम करने से उन्हें बहुत अनुभव मिला। इसका फायदा उन्हें हैप्पिलो शुरू करने में हुआ।
2016 में शुरू की अपनी कंपनी
2015 में विकास ने सात्विक स्पेशलिटी फूड्स को छोड़ दिया था। फिर 2016 में उन्होंने हैप्पिलो की स्थापना की। हैप्पिलो हेल्दी स्नैक्स बनाती है। आज हैप्पिलो 40 तरह के ड्राई फ्रूट्स बेचती है। इसके अलावा, उनकी कंपनी 60 तरह के मसाले और 100 तरह की चॉकलेट की भी बिक्री करती है। इससे बाजार में कंपनी का अच्छा दबदबा है।
10 हजार रुपये से की थी शुरुआत
शुरुआत में विकास को काफी संघर्ष करना पड़ा। उन्होंने सिर्फ 10,000 रुपये से बिजनेस शुरू किया था। उस समय उनके पास सिर्फ दो कर्मचारी थे। आज हैप्पिलो के प्रोडक्ट्स कई ई-कॉमर्स साइट्स और देशभर के रिटेल स्टोर्स पर उपलब्ध हैं। कंपनी का वैल्यूएशन 10,000 रुपये से बढ़कर लगभग 500 करोड़ रुपये हो गया है।
किसे मानते हैं सफलता की कुंजी?
विकास का मानना है कि असफलता से सीखना और आगे बढ़ना ही सफलता की कुंजी है। उनकी कहानी उन लोगों के लिए प्रेरणा है जो अपने सपनों को पूरा करने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। विकास का उदाहरण दिखाता है कि अगर आपके पास दृढ़ संकल्प और कड़ी मेहनत करने की लगन हो तो आप कुछ भी हासिल कर सकते हैं। उन्होंने दिखाया है कि असफलता से घबराना नहीं चाहिए बल्कि इसे एक सीख की तरह लेना चाहिए और आगे बढ़ते रहना चाहिए।